घरेलू एलपीजी गैस की खपत पिछले तीन महीने में 7.3 फीसद बढ़ गई वह भी तब जब इन तीन महीनों में बना सब्सिडी वाले गैस सिलेंडर करीब 200 रुपये तक महंगा हो चुका है। वहीं उज्ज्वला योजना के लाभार्थियों में इसकी मांग में 20 फीसद का इजाफा हुआ है। इंडियन आयल कार्पोरेशन के मुताबिक एलपीजी की खपत में सुधार PMUY ग्राहकों की वजह से है। बता दें पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने लोकसभा में पूछे गए एक सवाल के जवाब कहा कि पिछले सात साल में एलपीजी सिलेंडर की कीमतें दोगुनी हो गई हैं। इस दौरान धीरे-धीरे सब्सिडी भी समाप्त हुई है।
एलपीजी पर मिलने वाली सब्सिडी आपके खाते में आ रही है क्या? ऐसे करें चेक
दिसंबर 2020 से फरवरी 2021के बीच घरेलू गैस की खपत में अच्छा इजाफा हुआ है, जबिक इसी पीरियड के दौरान सभी श्रेणी के एलपीजी के दाम 175 रुपये बढ़े। उज्ज्वला योजना के तहत मिलने वाले सिलेंडर के दाम भी 19.5 फीसद बढ़ गए। चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में एलपीजी की कुल खपत में 23.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। पीएमयूवाई ग्राहकों ने तीन महीने के दौरान 10.1 लाख टन एलपीजी की खपत की, जो एक साल पहले 8.45 लाख टन थी। साल-दर-साल की तुलना में, कुल घरेलू एलपीजी बिक्री में चालू वित्त वर्ष (अप्रैल 2020 से फरवरी 2021) के दौरान 10.3 प्रतिशत की शानदार वृद्धि दर्ज की गई है। पीएमयूवाई लाभार्थियों को 9,670 करोड़ रुपये की लागत से तीन मुफ्त एलपीजी रिफिल प्रदान किए गए थे।
सात साल में 409 रुपये महंगा हुआ एलपीजी सिलेंडर
लोकसभा में अपने लिखित जवाब में पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने बताया। 1 मार्च 2014 में एक गैस सिलेंडर की कीमत 410.50 रुपये थी, वहीं इस महीने में गैस सिलेंडर की कीमत 819 रुपये तक पहुंच गई थी। ये कीमतें दिल्ली की है, अलग-अलग राज्यों में इसके कीमतों में थोड़ा बहुत अंतर रहेगा। पिछले 32 दिनों में एलपीजी की कीमतों 125 रुपये का इजाफा हुआ है।
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