Sushil Kumar के लिए नई मुसीबत, WFI की सालाना कॉन्ट्रैक्ट प्लेयर्स की लिस्ट से बाहर होने का खतरा

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नई दिल्ली: सागर राणा मर्डर केस (Sagar Rana Murder Case) में गिरफ्तार ओलंपिक मेडल विनर सुशील कुमार (Sushil Kumar) की मुसीबतें और ज्यादा बढ़ने वाली हैं रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (Wrestling Federation of India) इस पहलवान को तगड़ा झटका देने की तैयारी में है.

WFI दे सकती है झटका

उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं करने की वजह से सुशील कुमार (Sushil Kumar) को रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (Wrestling Federation of India) के सालाना कॉन्ट्रैक्ट प्लेयर्स की लिस्ट से बाहर किया जा सकता है.
 

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कोरोना ने टाल दी थी मीटिंग

रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (Wrestling Federation of India) और स्पॉन्सर टाटा मोटर्स (Tata Motors) के बीच मीटिंग 2020 में होनी थी लेकिन कोरोना वायरस महामारी (Coronavirus Pandemic) के कारण इसे टाल दिया गया.

‘प्रदर्शन के आधार पर फैसला’

रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया के एक सूत्र ने बताया कि सुशील कुमार (Sushil Kumar) को हटाने का फैसला पूरी तरह से प्रदर्शन के आधार पर किया गया है और छत्रसाल स्टेडियम (Chhatrasal Stadium) में साथी पहलवान सागर राणा की हत्या में उनकी कथित हाथ होने के कारण गिरफ्तारी से इसका कोई लेना देना नहीं है.

 

 

‘सुशील ने कुछ खास नहीं किया’

रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (Wrestling Federation of India) सूत्र ने पीटीआई से कहा, ‘यह साफ है कि कॉन्ट्रैक्ट की पेशकश किए जाने के बाद से सुशील कुमार (Sushil Kumar) ने कुछ खास नहीं किया है. अगले महीने जब समीक्षा बैठक होगी तो वे अनुबंध हासिल नहीं कर पाएंगे.’

ग्रेड ए में  शामिल थे सुशील

शुरुआत में ग्रेड बी में रखे जाने के बाद सुशील कुमार (Sushil Kumar) को ग्रेड ए में जगह मिली थी. ग्रेड ए में 30 लाख जबकि ग्रेड बी में 20 लाख रुपये सालाना सैलरी दी जाती है. सुशील जकार्ता में 2018 एशियन गेम्स में कोई मेडल नहीं जीत सके थे और 2019 वर्ल्ड चैंपियनशिप के पहले दौर में ही बाहर हो गए. वो इसके बाद किसी टूर्नामेंट में नहीं खेले.



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